गुजरात में आए चक्रवर्ती तूफान से भारी संकट, सरकार क्या कर रही है!

Gujarat toofan poster
गुजरात पर मंडराते चक्रवाती तूफान का बड़ा खतरा

 

Gujrat toofan poster

गुजरात पर मंडराते चक्रवाती तूफान का बड़ा खतरा, चल रहा बचाव कार्य ! 


चक्रवाती तूफान कम वायुमंडलीय दवाब के चारों ओर तेज रफ्तार से चलने वाली गर्म हवा है, जो कई बार स्थलीय भू-भागों पर विभीषिका यानी बर्बादी का कारण बन जाते हैं. दक्षिणी गोलार्ध में चलने वाली इन गर्म हवा को चक्रवात के नाम से जाना जाता है। यह घड़ी की सुई की दिशा में चलते हैं. उत्तरी गोलार्ध में इन गर्म हवा को हरीकेन या टाइफून कहते हैं जहां यह घड़ी की सुई की उल्टी दिशा में चलते हैं !

चक्रवाती तूफान का बनना और आगे बढ़ना हवा के तापमान और वायू दाब के अंतर पर निर्भर करता है. गर्म इलाके के समुद्र में तापमान के बढ़ने से हवा गर्म होकर बेहद कम वायु दाब का क्षेत्र बनाती है. इससे हवा गर्म होकर तेजी से ऊपर उठती है. ऊपर की नमी से मिलकर यह संघनित होती है और बादल का निर्माण करती है. इस घटनाक्रम में तैयार खाली जगह को भरने के लिए नम हवा तेजी से नीचे जाकर ऊपर आती है और इस क्रम को लगातार दोहराती है. नतीजतन हवा बहुत तेजी से उस क्षेत्र के चारों तरफ घूमती है और कम वायू दाब की ओर तेज रफ्तार से बढ़ते हुए घने बादलों और बिजली के साथ मूसलाधार बारिश करती है. तेजी से घूमती इस हवा के क्षेत्र का व्यास हजारों किलोमीटर का हो सकता है 

चक्रवाती तूफान का नाम विश्व मौसम संगठन और संयुक्त राष्ट्र की प्रशांत एशियाई क्षेत्र का आर्थिक और सामाजिक आयोग खास चरणबद्ध प्रक्रिया के तहत रखता है. भारतीय उपमहाद्वीप से जुड़े आठ समुद्री देश भारत, बांग्लादेश, मालदीव, म्यांमार, पाकिस्तान, श्रीलंका, ओमान और थाईलैंड एक साथ मिलकर आने वाले चक्रवाती तूपान के 64 नाम तय करते हैं. यानी हर देश आठ नामों को तय करते हैं. जब चक्रवात इन आठों देशों के किसी हिस्से में पहुंचता है, तब उसे सूची में शामिल अगला नाम दे दिया जाता है. किसी भी चक्रवाती तूफान के नाम का क्रम नामों के पहले अक्षर के मुताबिक तय किया जाता है. चक्रवाती तूफान के नामकरण की यह प्रकिया साल 2004 में शुरू की गई! ( आप पार्ट टाइम पैसा कमाना चाहते हैं तो यहां क्लिक करें >>> https://1wnysx.top/#7gm1 Use my promo code DOD13 get 500% bonus बस लॉगिन करें 300 जमा करें और रोज के 2000 बनाएं! )

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